ऑल मुस्लिम वेलफेयर फाउंडेशन वर्षभर मानवता एवं समाज सेवा के विभिन्न कार्यों में सक्रिय रहता है। इसी क्रम में फाउंडेशन द्वारा जनवरी माह में दो महत्वपूर्ण सामाजिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है।
निकाह को आसान बनाने और सामाजिक एकता को बढ़ावा देने की नियत से रायगढ़ में इज्तेमाई निकाह (सामूहिक विवाह) का आयोजन किया जाएगा। इस आयोजन की विशेषता यह होगी कि इसमें केवल एक धर्म ही नहीं, बल्कि सभी धर्मों के योग्य जोड़ों का विवाह संपन्न कराया जाएगा।
पिछले वर्ष भी फाउंडेशन द्वारा रायगढ़ में सामूहिक विवाह आयोजित किया गया था, जिसमें 10 जोड़ों का विवाह संपन्न कराया गया था। फाउंडेशन ने सभी नवविवाहित जोड़ों को बेड, टीवी, कूलर, मिक्सर–ग्राइंडर, बर्तन, अलमारी एवं अन्य आवश्यक घरेलू सामान भेंट किए थे।
युवाओं को नशे से दूर कर खेल और फिटनेस की ओर प्रेरित करने के उद्देश्य से जगदलपुर (बस्तर) में जनवरी में ‘नशा छोड़ो – खेल चुनो’ क्रिकेट टूर्नामेंट का आयोजन किया जा रहा है। बस्तर क्षेत्र में यह टूर्नामेंट काफी लोकप्रिय है और फाउंडेशन द्वारा वर्षों से युवाओं को खेल और व्यायाम के प्रति जागरूक करने के लिए इसे आयोजित किया जाता रहा है।
फाउंडेशन के संरक्षक सैयद फैसल रिज़वी ने बताया कि ऑल मुस्लिम वेलफेयर फाउंडेशन समाज सेवा एवं मानवता की सेवा को अपना मुख्य लक्ष्य मानकर लगातार कार्यरत है।
फाउंडेशन द्वारा जरूरतमंद बच्चों के लिए **‘द सीड स्कूल’** की स्थापना की गई है, ताकि आर्थिक रूप से कमजोर बच्चे शिक्षा से वंचित न रहें।
रिज़वी साहब ने कहा—
**“हम लगातार शिक्षा को बढ़ावा देने का प्रयास कर रहे हैं। हमारी अपील है—‘दो रोटी कम खाओ, लेकिन अपने बच्चों को ज़रूर पढ़ाओ।’”**
फाउंडेशन द्वारा *कलम का लंगर*, बच्चों को जूते उपहार में देना सहित कई शैक्षणिक और सामाजिक पहलें निरंतर चलाई जाती हैं।
युवाओं को नशे की लत से दूर रखने के लिए क्रिकेट टूर्नामेंट एवं एथलेटिक्स प्रतियोगिताओं का आयोजन भी नियमित रूप से हाजी वसीम अहमद के नेतृत्व में किया जाता है।
निकाह को आसान बनाने की पहल **‘ज़रिया-ए-रिश्ता’** के अंतर्गत रायगढ़ में सामूहिक विवाह समारोह अतहर हुसैन जी के नेतृत्व में संपन्न कराया जा रहा है।
ऑल मुस्लिम वेलफेयर फाउंडेशन के प्रदेश अध्यक्ष मोहम्मद सिराज ने कहा “हमारा उद्देश्य समाज के हर वर्ग तक सहायता पहुँचाना है। सामूहिक विवाह हो या खेल प्रतियोगिता—ये कार्यक्रम सिर्फ आयोजन नहीं, बल्कि समाज को जोड़ने और युवाओं को सकारात्मक दिशा देने का माध्यम हैं। हम चाहते हैं कि जिन परिवारों के लिए विवाह एक आर्थिक बोझ है, उन्हें सम्मानपूर्वक और सरल तरीके से यह शुभ कार्य सम्पन्न कराने में मदद मिले। बस्तर का ‘नशा छोड़ो – खेल चुनो’ टूर्नामेंट भी इसी सोच का हिस्सा है, ताकि युवा नशे से दूर रहकर स्वस्थ और अनुशासित जीवन की ओर बढ़ें।”**


