केरल की रहने वाली नर्स निमिषा प्रिया को यमन में मौत की सजा सुनाई गई थी। यमन के राष्ट्रपति रशद अल-अलीमी ने निमिषा को दी गई मौत की सजा पर अपनी मुहर लगा दी थी। अब खबर है कि निमिषा प्रिया को 16 जुलाई को फांसी दी जाएगी। दरअसल निमिषा पर एक यमनी नागरिक की हत्या का आरोप है।

क्या है पूरा मामला?
नर्स निमिषा प्रिया ने यमन में अपना क्लीनिक खोला था। जानकारी के मुताबिक, उसकी दोस्ती यमन में एक शख्स से हुई, जिसका नाम था आब्दो महदी। महदी ने उसकी क्लीनिक को खोलने में मदद करने का वादा किया था। यह भी दावा किया जाता है कि महदी ने अपना वादा नहीं निभाया, बावजूद इसके निमिषा ने यमन में अपना क्लीनिक खोल लिया। जानकारी के मुताबिक, इसके बाद महदी निमिषा को परेशान करने लगा और उसे अपनी दूसरी पत्नी बताने लगा। वह बार-बार निमिषा से पैसे मांगता। इस बात को लेकर निमिषा ने पुलिस में शिकायत भी की, जिसके बाद कुछ दिनों तक महदी को जेल में रहना पड़ा। हालांकि जब महदी जेल से वापस आया तो उसने निमिषा का पासपोर्ट अपने कब्जे में ले लिया।
निमिषा ने लगाया था बेहोशी का इंजेक्शन
पासपोर्ट को महदी से वापस पाने के लिए निमिषा ने उसे बेहोशी का इंजेक्शन लगाया। लेकिन बेहोशी के इंजेक्शन का डोज ओवरडोज में बदल गया, और महदी की मौत हो गई। इसके बाद निमिषा ने अपनी कलीग हनान के साथ मिलकर महदी के शरीर के टुकड़े कर डाले और उसकी शरीर को पानी के टैंक में फेंक दिया। बता दें कि हनान यमनी नागरिक है। इस मामले में साल 2018 में निमिषा को मौत की सजा सुनाई गई थी, जबकि हनान को आजीवन कैद हुई थी। निमिषा का एक 8 साल का बेटा भी है। निमिषा साल 2018 से ही यमन के सना में काम कर रही है।
